पंचकूला, 29 जुलाई- सत्य सत्यनारायण गुप्ता-हरियाणा राज्य आजीविका मिशन (एचएसआरएलएम) के मुख्य कार्यकारी अधिकारी (सीईओ), डॉ (श्रीमती) अमरिंदर कौर आई.एफ.एस (सेवानिवृत्त) ने राष्ट्रीय अकादमी रूडसेटी (एन.ए.आर) द्वारा प्रकाशित हरियाणा राज्य के लिए वार्षिक गतिविधि रिपोर्ट, मूल्यांकन और प्रमाणन जारी किया। इस अवसर पर राज्य के सभी आरएसईटीआई के निदेशक और एन.ए.आर. के अधिकारी वर्चुअल रूप से शामिल हुए।
डॉ. अमरिंदर कौर ने सभी जिलों के आरएसईटीआई के निदेशकों को संबोधित करते हुए राज्य के ग्रामीण युवाओं के लिए स्वरोजगार आधारित प्रशिक्षण पर अधिक समर्पित तरीके से काम करने की आवश्यकता पर बल दिया। उन्होंने आरएसईटीआई के कार्यों की सराहना की और कहा कि आरएसईटीआई द्वारा ग्रामीण युवाओं को उनके कौशल को विकसित करके संलग्न और प्रशिक्षित करने के लिए कठोर प्रयास किए जाने चाहिए। उन्होंने कहा कि ग्रामीण विकास मंत्रालय, भारत सरकार द्वारा वित्त पोषित आरसेटी सबसे अच्छे कौशल केंद्रों में से एक है जो ग्रामीण समुदाय को उनके दरवाजे पर मुफ्त प्रशिक्षण प्रदान करता है। एचएसआरएलएम आरएसईटीआई के सफल संचालन के लिए नोडल एजेंसी है जो बैंकों को कार्यान्वयन और निगरानी में मदद करती है।
इस अवसर पर डॉ. कौर ने गुणवत्तापूर्ण प्रशिक्षण प्रदान करने पर जोर दिया जो पाठ्यक्रम के सफल समापन के बाद प्रशिक्षुओं के लिए आजीविका के अवसर पैदा करने में मदद करेगा। उन्होंने आरएसईटीआई प्रशिक्षण के माध्यम से लोगों को स्थायी आजीविका से जोड़ने के लिए कोविड -19 के बाद आवश्यक कदम उठाने के लिए समय की आवश्यकता पर जोर दिया, ताकि प्रशिक्षण के बाद क्रेडिट लिंकेज और स्थानीय आवश्यकताओं के आधार पर ट्रेडों की उपलब्धता सुनिश्चित हो सके।
ग्रामीण स्वरोजगार प्रशिक्षण संस्थान, ग्रामीण विकास मंत्रालय की एक पहल है, जो देश के प्रत्येक जिले में उद्यमिता विकास की दिशा में सक्षम ग्रामीण युवाओं को प्रशिक्षण और कौशल उन्नयन प्रदान करने के लिए समर्पित बुनियादी ढाँचा है। आरसेटी का प्रबंधन बैंकों द्वारा भारत सरकार और राज्य सरकारों के सक्रिय सहयोग से किया जाता है। हरियाणा राज्य आजीविका मिशन नोडल एजेंसी है।
इस अवसर पर निदेशक, राष्ट्रीय रुडसेटी अकादमी, बिपुल चंद्र साहा और नियंत्रक मूल्यांकन एवं प्रमाणन श्री आर.आर. सिंह ने हरियाणा में आरएसईटीआई द्वारा चलाए जा रहे प्रशिक्षण की सराहना की।
एनएआर की वार्षिक रिपोर्ट के अनुसार, 315 बैचों को प्रशिक्षित और मूल्यांकन किया गया था। कुल 4768 प्रशिक्षुओं का मूल्यांकन किया गया, जिनमें से 4682 उत्तीर्ण हुए। प्रदेश में युवाओं को प्रशिक्षण देकर स्वरोजगार को बढ़ावा देने के लिए 20 आरएसईटीआई एवं एक रुडसेटी केन्द्र संचालित हैं। इन केंद्रों का संचालन मुख्य रूप से पंजाब नेशनल बैंक, भारतीय स्टेट बैंक, केनरा बैंक और रुडसेटी की मदद से किया जा रहा है।
कार्यक्रम का समापन रुचि कौशल मुख्य परिचालन अधिकारी, एचएसआरएलएम के धन्यवाद ज्ञापन के साथ हुआ। उन्होंने एक्टिविटी रिपोर्ट लॉन्च करने के लिए समय देने के लिए सीईओ को धन्यवाद दिया। कार्यक्रम के दौरान डॉ. कृष्ण कुमार (आरएसईटीआई, एचएसआरएलएम के नोडल अधिकारी, जोगिन्द्र सिंह राज्य निदेशक, आरएसईटीआई और श्री शैलेन्द्र चौहान सहायक निदेशक, एनएआर भी उपस्थित थे।