पंचकूला।- अग्रजन पत्रिका से इंद्रा गुप्ता- श्री सनातन धर्म मंदिर सभा सेक्टर 10 में आयोजित श्रीमद भागवत कथा के पांचवें दिन कथा व्यास कीर्ति किशोरी ने कालिया नाग और श्री कृष्ण के बीच युद्ध की कथा सुनाई। उन्होंने बताया कि किस तरह से श्रीकृष्ण ने कालिया नाग का घमंड तोड़ा था। मंदिर सभा के प्रधान मामचंद, महासचिव एसपी विज, संरक्षक मुंशी राम अरोड़ा, पैटर्न एसके शर्मा, वरिष्ठ उपप्रधान भारत हितैषी, महिला मंडल प्रधान प्रवीण प्रवेश ने आये हुये मेहमानों का स्वागत किया। कीर्ति किशोरी ने बताया कि कालिय नाग बड़ा पराक्रमी था। जब उसने कृष्ण को अपनी कुंडली में बांध लिया, उस समय कृष्ण कुछ असहाय एवं निश्चेष्ट हो गये थे। उस समय नागपत्नियां, जो कृष्ण की परम भक्त थीं, प्रार्थना करने लगीं कि भगवद विरोधी पति की स्त्री होने के बदले हम विधवा होना ही अधिक पसंद करती हैं। किन्तु, ज्योंही कृष्ण नाग की कुण्डली से निकल कर उसके मस्तक पर पदाघात करते हुए नृत्य करने लगे, उस समय कालिय अपने सहस्त्रों मुखों से रक्त उगलते हुए भगवान के शरणागत हो गया। उस समय नाग-पत्नियां उसके शरणागत भाव से अवगत होकर, हाथ जोडक़र कृष्ण से उसे जीवन-दान के लिए प्रार्थना करने लगीं। श्रीकृष्ण ने उनकी स्तव-स्तुति से प्रसन्न होकर कालिय नाग को अभय प्रदान कर सपरिवार रमणक द्वीप में जाने के लिए आदेश दिया तथा उसे अभय देते हुए बोले- अब तुम्हें गरुडज़ी का भय नहीं रहेगा। वे तुम्हारे फणों पर मेरे चरणचिह्न को देखकर तुम्हारे प्रति शत्रुता भूल जायेंगे। इस अवसर पर सनातन धर्म मंदिर सभा सेक्टर 10 पंचकूला के प्रधान मामचंद मुख्य संरक्षक बाऊ दलजीत सिंह, संरक्षक मुंशी राम अरोड़ा, एसके शर्मा, एसएस सैनी, आरएल सेतिया, महासचिव एस पी विज, वरिष्ठ उपप्रधान भारत हितैषी, आचार्य रामानुज शर्मा, जेआर सिंगला, सुभाष शर्मा, धर्मशाला इंचार्ज प्रेम लाल गुप्ता, कोषाध्यक्ष विशाल शर्मा, सह कोषाध्यक्ष जी डी बत्रा, पैटर्न जीडी गौतम, पूर्व महासचिव राजकुमार शर्मा, महिला मंडल प्रधान प्रवीण प्रवेश, आभा गुप्ता, सत्या गौतम, रघुवीरी, आशा, संतोष, वनीता भी उपस्थित थीं।